
हनीमून मनाने मेघालय गए इंदौर के ट्रांसपोर्ट कारोबारी राजा रघुवंशी की हत्या उनकी पत्नी ने ही कराई थी। उसने यूपी के गाजीपुर में सरेंडर किया है। हालांकि राजा की हत्या सोनम ने ही कराई है, अभी इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है क्योंकि सोनम का बयान नहीं हुआ है और वह अभी बयान देने की स्थिति में भी नहीं है, इसलिए खबरों में विरोधाभास है। हालांकि वारदात में शामिल तीन हमलावरों को भी गिरफ्तार कर लिया गया है। हमलावर MP के रहने वाले हैं। एक आरोपी की तलाश जारी है।


मेघालय के CM कोनराड संगमा ने X पर पोस्ट करके यह जानकारी दी है।
फिलहाल, सोनम की बरामदगी को लेकर दो तरह की बातें सामने आ रही हैं। पहली, गाजीपुर एसपी डॉ. ईरज राजा ने बताया- गश्त के दौरान पुलिसकर्मियों ने नंदगंज के काशी ढाबा पर एक महिला को बेहोशी की हालत में पड़ा देखा। पुलिस पूछताछ में पुष्टि हुई कि यह वही सोनम रघुवंशी है, जो अपने पति राजा रघुवंशी के साथ शिलांग में लापता हुई थी।
दूसरी, सोनम के पिता देवी सिंह ने बताया- रात करीब 2 बजे सोनम गाजीपुर के एक ढाबे पर पहुंची थी। यहां ढाबे वाले से कहकर भाई गोविंद को कॉल किया। गोविंद ने गाजीपुर से अपने परिचित को वहां भेजा। इसके बाद उन्होंने सोनम से फोन पर बात कराई।
गाजीपुर एसपी बोले- सोनम अभी बयान देने की स्थिति में नहीं….
गाजीपुर एसपी डॉ. ईरज राजा ने बताया- सोनम अभी भी बयान देने की स्थिति में नहीं है। वह लंबे समय से सोई भी नहीं है। उसे गाजीपुर के वन स्टॉप सेंटर में महिला पुलिस की निगरानी में रखा गया है। पुलिस जब गश्त पर थी, तब पुलिसकर्मियों ने नंदगंज के काशी ढाबा पर एक महिला को बेहोशी की हालत में पड़ा देखा। इसके बाद थाना प्रभारी को सूचना दी। पुलिस पूछताछ में पुष्टि हुई कि यह वही सोनम रघुवंशी है, जो अपने पति राजा रघुवंशी के साथ शिलांग में लापता हुई थी।
हिंसा प्रभावित महिलाओं के लिए सहायता केंद्र है वन स्टॉप सेंटर….
वन स्टॉप सेंटर (ओएससी) हिंसा से प्रभावित महिलाओं के लिए एकीकृत सहायता केंद्र है। यह महिलाओं को एक ही स्थान पर कई तरह की सहायता मुहैया कराता है, जैसे- अस्थायी आश्रय, पुलिस सहायता, कानूनी सहायता, चिकित्सा सहायता और परामर्श। भारत सरकार ने इन केंद्रों का नाम सखी रखा है।

शिलॉन्ग के एक गाइड ने दावा किया था कि जिस दिन राजा और सोनम लापता हुए, उस दिन उनके साथ तीन अन्य युवक भी थे। मावलाखियात के गाइड अल्बर्ट पैड ने पुलिस को बताया था कि राजा और सोनम को तीन पर्यटकों के साथ 23 मई सुबह 10 बजे नोंग्रियात से मावलाखियात के बीच देखा गया।
अल्बर्ट ने कहा कि वह इंदौर के दंपती को पहचानते हैं, क्योंकि उन्होंने एक दिन पहले उन्हें नोंग्रियात तक चढ़ने के लिए अपनी सेवाएं देने की पेशकश की थी, लेकिन उन्होंने मना कर दिया था। उन्होंने दूसरे गाइड वानसाई को की सेवाएं ली थीं।
उन्होंने बताया कि चारों आगे चल रहे थे, जबकि सोनम पीछे थी। वे चारों हिंदी में बात कर रहे थे। लेकिन मैं समझ नहीं पाया कि वे क्या बोल रहे थे, क्योंकि मैं केवल खासी और अंग्रेजी ही जानता हूं। उन्होंने बताया कि उन लोगों ने शिपारा होम स्टे में रात बिताई और अगले दिन बिना गाइड के ही लौट आए।