भोपाल….

मध्य प्रदेश के 1 करोड़ 70 लाख श्रमिकों का वेतन नए सिरे से तय करने के लिए राज्य सरकार ने मप्र न्यूनतम वेतन सलाहकार बोर्ड क गठन कर दिया है। बोर्ड के अध्यक्ष श्रमायुक्त मप्र होंगे। जबकि श्रमिकों के प्रतिनिधि के रूप में भारतीय मजदूर संघ, मध्य प्रदेश राष्ट्रीय मजदूर कांग्रेस (इंटक), सेंटर ऑफ इंडियन ट्रेड यूनियन (सीटू), अखिल भारतीय ट्रेड यूनियन कांग्रेस (एटक) और हिंदू मजदूर सभा मप्र के पदाधिकारियों को सदस्य बनाया गया है।

असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के वेतन में वृद्धि के लिए सरकार हर साल बोर्ड का गठन करती है, जिसकी अनुशंसा के आधार पर कलेक्टर दर में वृद्धि की जाती है। पिछली बार अप्रैल 2024 में श्रमिकों के वेतन में वृद्धि की गई थी। अब गठित किया गया बोर्ड वर्तमान में महंगाई की स्थिति को देखते हुए वेतन में वृद्धि की अनुशंसा करेगा, जो अप्रैल 2025 से लागू की जाएगी। उल्लेखनीय है कि असंगठित क्षेत्र में मध्य प्रदेश में 2 करोड़ से अधिक श्रमिक कार्यरत हैं, इनमें से करीब 30 लाख श्रमिकों का पंजीयन नहीं हुआ है।